महाधिवक्ता
राज्य की न्यायपालिका
भारत में गठित नवीनतम उच्च न्यायालय -
अधिकार क्षेत्र कि दृष्टि से भारत का सबसे बड़ा उच्च न्यायालय गोवाहटी (असम)
जो चार राज्यों हेतु कार्यरत है -
योग्यतायें
- उल्लेख - अनुच्छेद 165
- राज्य सरकार का सबसे बड़ा व प्रथम कानुनी अधिकारी होता है।
- नियुक्ति शपथ व त्यागपत्र - राज्यपाल
- योग्यता - उच्च न्यायालयों के न्यायधीशों के समान
- कार्यकाल -राज्यपाल के प्रर्साद पर्यन्त
- नोट: एकमात्र व्यक्ति जो विधान मण्डल का सदस्य न होते हुये भी उसकी कार्यवाही में भाग लेता है।
- वर्तमान में महाधिक्ता - एन.एम. लोढा (नरपतमल लोढा)
राज्य की न्यायपालिका
- भाग - 6 व अनुच्छेद 214 से 231 तक राज्यों के उच्च न्ययालय के बारे में प्रावधान किया गया है।
- अनुच्छेद 214- राज्यों के लिए उच्च न्यायालय
- अनुच्छेद 215 - उच्व्च न्यायालय को अभिलेखिय न्यायालय कहा जाता है।
- अनुच्छेद 216 - उच्च न्यायालय का गठन।
- अनुच्छेद 217 - न्यायाधिशों की नियुक्ति।
- अनुच्छेद 219 - न्यायाधिशों की शपथ।
- अनुच्छेद 221 - न्यायाधिशों का वेतन।
- अनुच्छेद 222 - किसी न्यायाधिश का एक उच्च न्यायालय से दूसरे उच्च न्यायालय में स्थानान्तरण।
- अनुच्छेद 223 - कार्यवाहक मुख्य न्यायाधिश की नियुक्ति।
- अनुच्छेद 224 - अतिरिक्त एवं कार्यवाहक न्यायाधिशों की नियुक्ति।
- अनुच्छेद 231 - दो या अधिक राज्यों के लिए एक उच्च न्यायालय की स्थापना।
- 1861 भारत परिषद अधिनियम के द्वारा 1862 ई. को भारत में सर्वप्रथम कलकता बम्बई व मद्रास में उच्च न्यायालय स्थापित किये गये।
- सतवें सविधान संशोधन 1956 के द्वारा यह प्रावधान किया गया कि दो या दो से अधिक राज्यों एवम् एक संघ राज्य क्षेत्र के लिये उच्च न्यायालय की स्थापना की जा सकती है।
- सम्पूर्ण भारत में वर्तमान में कुल उच्च न्यायालयों कि
- संख्या = 24
- 23 सभी राज्यों में और 1 केन्द्र शासित प्रदेश दिल्ली (1966)
भारत में गठित नवीनतम उच्च न्यायालय -
- मणिपुर - 25 मार्च 2013
- मेघालय - 25 मार्च 2013
- त्रिपुरा - 26 मार्च 2013 (सबसे नवीनतम)
अधिकार क्षेत्र कि दृष्टि से भारत का सबसे बड़ा उच्च न्यायालय गोवाहटी (असम)
जो चार राज्यों हेतु कार्यरत है -
- असम
- अरूणाचल प्रदेश
- नागालेण्ड
- मिजोरम
- न्यायाधीशों कि संख्या मे भारत का सबसे बड़ा उच्च न्यायालय - इलाहबाद (यूपी)
- वे उच्च न्यायालय जो एक से अधिक राज्यों के लिए काम करते है - मुम्बई, कोलकता, गुवाहटी, चेन्नई, चण्डीगढ़, एर्नाकुलम (केरल)
- नोट - केन्द्रीय मंत्री मण्डल में 5 जुलाई 2016 को बाॅम्बे, मद्रास और कोलकता उच्च न्यायालय का नाम बदलकर मुम्बई, चेन्नई, कोलकाता उच्च न्यायालय कर दिया।
योग्यतायें
- भारत का नागरीक हो।
- 5 वर्षो तक एक या एक से अधिक जिला/स्तर न्यायालय में न्यायधीश रह चुका है। अथवा 10 वर्षो तक किसी उच्च न्यायालय में वकिल (अधिवक्ता) रह चुका है। अथवा 10 वर्षो तक राज्य स्तर के किसी न्यायिक पद पर कार्य कर चुका है।
- कार्यकाल - 62 वर्ष कि आयु तक
- न्यायाधिशों को हटाने की प्रक्रिया - महाभियोग द्वारा।
- उच्च न्यायालय अनुच्छेद 226 के द्वारा मूल अधिकारों कि सुरक्षा के लिए रिट जारी करता है।